देश भक्ति शायरी हिंदी में | Desh Bhakti Shayari In Hindi
देश भक्ति शायरी.....
हेलो दोस्तों आज मैंने इस पोस्ट में कुछ बढ़िया – बढ़िया देश भक्ति शायरी लाये है, इसे आप कापी करके अपने मित्रगण को शेयर कर सकते हैसरहद पर एक फौजी अपना वादा निभा रहा हैं !
वो धरती माँ की मोहब्बत का कर्ज चुका रहा हैं !!
इश्क़ तो करता हैं हर कोई,
मेहबूब पे मरता हैं हर कोई,
कभी वतन को मेहबूब बना कर देखो,
तुझ पे मरेगा हर कोई……!!!!
तिरंगा हमारा हैं शान- ए-जिंदगी,
वतन परस्ती हैं वफ़ा-ए-ज़मी,
देश के लिए मर मिटना कुबूल हैं हमें,
अखंड भारत के स्वपन का जूनून हैं हमें..!!
खुशनसीब हैं वो जो वतन पर मिट जाते हैं !
मरकर भी वो लोग अमर हो जाते हैं !!
करता हूँ उन्हें सलाम ए वतन पे मिटने वालों !
तुम्हारी हर साँस में तिरंगे का नसीब बसता है !!
ऐ मेरे वतन के लोगों तुम खूब लगा लो नारा !
ये शुभ दिन है हम सब का लहरा लो तिरंगा प्यारा !!
पर मत भूलो सीमा पर वीरों ने है प्राण गँवाए !
कुछ याद उन्हें भी कर लो जो लौट के घर न आये !!
भारत देश हमको जान से प्यारा है !
हिन्दुस्तानी नाम हमारा है !!
न बर्षा में गलें न सर्दी से डरें न गर्मी से तपें !
हम फौजी इस देश की शान है !!
दिलों की नफरत को निकालो !
वतन के इन दुश्मनों को मारो !!
ये देश है खतरे में ए -मेरे -हमवतन !
भारत माँ के सम्मान को बचा लो !!
उनके हौंसले का मुकाबला ही नहीं है कोई !
जिनकी कुर्बानी का कर्ज हम पर उधार है !!
आज हम इसीलिए खुशहाल हैं क्यूंकि !
सीमा पे जवान बलिदान को तैयार है !!…
चलो फिर से खुद को जागते है !
अनुसासन का डंडा फिर घुमाते है !!
सुनहरा रंग है गणतंत्र का सहिदो के लहू से !
ऐसे सहिदो को हम सब सर झुकाते है !!
|| आपको गणतंत्र दिवस की हार्दिक शुभकामनायें ||
लिख रहा हूं मैं अजांम जिसका कल आगाज आयेगा !
मेरे लहू का हर एक कतरा इकंलाब लाऐगा !!
मैं रहूँ या ना रहूँ पर ये वादा है तुमसे मेरा कि !
मेरे बाद वतन पर मरने वालों का सैलाब आयेगा !!
इस तिरंगे को कभी मत तुम झुकने देना !
देश की बढ़ती शान को तुम कभी न रुकने देना !!
यही अरमान है बस अब इस दिल में !
कि ऐसे ही आगे तुम बढ़ते रहना !!
आओ झुक कर सलाम करे उनको !
जिनके हिस्से में ये मुकाम आता है !!
खुशनसीब होता है वो खून !
जो देश के काम आता है!!
ना सरकार मेरी है ना रौब मेरा है !
ना बड़ा सा नाम मेरा है!!
मुझे तो एक छोटी सी बात का गौरव है !
मै हिन्दुस्तान का हूँ और हिन्दुस्तान मेरा है !!
!! जय हिन्द !!
मैं इसका हनुमान हूँ !
ये देश मेरा राम है !!
छाती चीर के देख लो !
अन्दर बैठा हिन्दुस्तान है !!
|| जय हिंदी जय भारत ||
आरजू बस यही है !
मेरी हर सांस देश के नाम हो !!
जो सिर उठे तो मेरे सामने तिरंगा हो !
जो सिर झुके तो वतन को प्रणाम हो !!
बड़े अनमोल हे ये खून के रिश्ते !
इनको तू बेकार न कर !!
मेरा हिस्सा भी तू ले ले मेरे भाई !
घर के आँगन में दीवार ना कर !!
भारत का वीर जवान हूँ मैं !
ना हिन्दू, ना मुसलमान हूँ मैं !!
जख्मो से भरा सीना हैं मगर, दुश्मन के लिए चट्टान हूँ मैं !
भारत का वीर जवान हूँ मैं !!
बड़े अनमोल हे ये खून के रिश्ते !
इनको तू बेकार न कर !!
मेरा हिस्सा भी तू ले ले मेरे भाई !
घर के आँगन में दीवार ना कर !!
बस ये बात हवाओं को बताये रखना !
रौशनी होगी चिरागों को जलाए रखना !!
लहू देकर भी जिसकी हिफाजत की शहीदों ने !
उस तिरंगे को सदा दिल में बसायें रखना !!
मुझे न तन चाहिए न मन चाहिए !
अमन से भरा यह वतन चाहिए !!
जब तक जिन्दा रहू इस मातृभूमि के लिए !
और मरु तो तिरंगा कफन चाहियें !!
हर पल हम सच्चे भारतीय बनकर देश के प्रति अपना फर्ज निभायेंगे !
जरूरत पड़ी तो लहू का एक-एक कतरा देकर इस धरती का कर्ज चुकायेंगे !!
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